जीएसटी कॉउंसलिंग की बैठक ख़त्म हो चुकी है और शुक्रवार के दिन ज्यादातर सेवाओं के टैक्स भी तय हो गए है। 1200 आइटम्स पर GST रेट तय हुआ है। एक ओर जहां अनाज और गाड़िया सस्ती हुई है तो वही दूसरी तरफ फोन बिल और कॉस्मेटिक्स के दाम बड़े है।
बिजली बिल को जीएसटी के दायरे से बाहर ही रखा गया है। अबसे बिजली बिल पर कोई सर्विस टैक्स नहीं लगेगा। स्वास्थ्य और शिक्षा से जुडी सेवाएं पहले की तरह टैक्स फ्री ही रहेंगी। आइये जानते है जीएसटी लागु होने के बाद मौजूदा टैक्स में क्या अंतर आया है।
जीएसटी लागू होने के बाद राजस्व सचिव हशमुख अधिया (6.2-4) का कहना है कि "मेरी सलाह है कि व्यापारी जमाखोरी ना करे, टैक्स की मौजूदा दरें ही वसूले। बढ़ने वाली दरों के हिसाब से कीमत ना बढ़ाई जाए सरकार जमाखोरी पर नजर रखने के लिए सिस्टम बना रही है"
वही वित्त मंत्री का भी कहना है कि बीमा और बैंकिंग सेवाओं में टैक्स 18% हो जायेगा। किन्तु कंपनियों को इनपुट टैक्स क्रेडिट का लाभ मिलेगा। इसलिए जो भी प्रभावित टैक्स होगा वो 15% ही होगा।