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मोदी सरकार स्वतंत्र भारत के सबसे बड़े कर सुधार कह
मोदी सरकार स्वतंत्र भारत के सबसे बड़े कर सुधार कहे जा रहे गुड्स एंड सर्विस टैक्स (जीएसटी) की शुरुआत देश की स्वाधीनता की उद्घोषणा के समय हुए समारोह की तर्ज पर करने जा रही है। इस नए अप्रत्यक्ष कर योजना की शुरुआत 30 जून की मध्य रात्रि में संसद के ऐतिहासिक केंद्रीय कक्ष में होने जा रही है। संसद का यह वही कक्ष है जहां पर 15 अगस्त 1947 की मध्य रात्रि में देश के तत्कालीन प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू ने ऐतिहासिक भाषण को नियति के साथ मिलने दिया था।
Be #GST ready. #GST roll out from 1st July 2017. #OneNationOneMarket #OneNationOneTaxOneMarket https://t.co/fqKmwDRA1C
— GST Council (@GST_Council) 15 June 2017
सरकार संभवत: देश में पहली बार इस नई कर निर्धारण की योजना को शुरू करने के लिए केंद्र सरकार केंद्रीय कक्ष का उपयोग करने जा रही है। नई अप्रत्यक्ष कर प्रणाली 2,000 अरब डालर से अधिक अर्थव्यवस्था को नया रूप देगी। आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि जीएसटी लागू होने की पूर्व संध्या पर कार्यक्रम संभवत: 30 जून को रात 11 बजे शुरू होगा और मध्यरात्रि तक चलेगा। एक जुलाई से जीएसटी लागू होना है।
#GST will create a unified national market #OneNationOneTaxOneMarket pic.twitter.com/A3bh1WMmWR
— Arun Jaitley (@arunjaitley) 19 June 2017
जीएसटी पर प्रेस वार्ता करते हुए वित्त मंत्री अरुण जेटली (1.2-6) ने प्रेस वार्ता कर कहा कि 30 जून को जीएसटी पर विशेष सत्र बुलाया गया है। उन्होंने कहा कि इसके लिए सभी राज्यों के वित्त मंत्री को न्योता दिया जाएगा। इसके बाद एक जुलाई के पूरे देश में जीएसटी लागू कर दिया जाएगा।
उन्होंने कहा, 30 जून और 1 जुलाई की आधी रात 12 बजे इसका लॉन्च किया जाएगा। केरल में भी अगले हफ्ते तक यह कानून बन जाएगा। जीएसटी के बाद कुछ समय के लिए चुनौतियां का सामना करना पड़ेगा। सरकार संभवत: पहली बार नई कराधान प्रणाली शुरू करने के लिये केंद्रीय कक्ष का उपयोग करेगी। नई अप्रत्यक्ष कर प्रणाली 2,000 अरब डॉलर से अधिक अर्थव्यवस्था को नया रूप देगी।
इस कार्यक्रम में राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी शामिल होंगे। पूर्व संप्रग सरकार में मुखर्जी जब वित्त मंत्री थे, तब उन्होंने जीएसटी विधेयक को आगे बढ़ाया था। कार्यक्रम के दौरान पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह भी मौजूद होंगे। इस कार्यक्रम में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इस योजना के ऊपर इस पर भाषण देने वाले है। इस कार्यक्रम पर राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी को भी आमंत्रित किया जाएगा। इस कार्यक्रम में प्रधानमंत्री और राष्ट्रपति के साथ मंच पर उप राष्ट्रपति हामिद अंसारी, पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह और एच. डी. देवगौड़ा एवं लोकसभाध्यक्ष सुमित्रा महाजन भी मौजूद रहेंगी।
Chairing the 17th meeting of #GSTCouncil in New Delhi, June 18, 2017 pic.twitter.com/i5Kfh0ge0n
— Arun Jaitley (@arunjaitley) 18 June 2017
इस योजना को लाने के लिए केंद्र और राज्य सरकार ने गुड्स एंड सर्विस टैक्स समिति की 17 बार बैठक की। ताकि इस नई टैक्स की व्यवस्था को अंतिम रूप दिया जा सके। गुड्स एंड सर्विस टैक्स की शुरुआत विज्ञान भवन से होनी थी। लेकिन इस नई टैक्स संहिता की अहमियत को देखते हुए केंद्रीय हाल के विकल्प को बेहतर माना गया है। इस नए अप्रत्यक्ष टैक्स की व्यवस्था एक दर्जन से भी अधिक शुल्कों को स्वयं में समाहित कर एक बाजार को तैयार करेगा। जिसकी आबादी अमेरिका, यूरोप, ब्राजील, मैक्सिको तथा जापान को मिलाकर अधिक है।
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